वर्चुअल मेडिटेशन का दायरा बढ़ रहा, घर बैठे आभासी माहौल में पाएं सुकून
आदित्या लोक, स्पेशल करोस्पोंडेंट:
गैजेट डेस्क.अगर आप भी सोचते हैं कि ध्यान करना कठिन है या ध्यान करने के लिए आपको माहौल नहीं मिलता तो फिर आपके पास किसी मेडिटेशन गुरु के अलावा टेक्नोलॉजी की शरण में आने का विकल्प भी है। वर्चुअल रिएलिटी (वीआर) के जमाने में अपने कमरे में बैठे-बैठे भी समुद्र किनारे ध्यान लगाना संभव है। आपसुनकर हैरान हो सकते हैं,लेकिन यह संभव है। वीआईडिवाइसेस यूजर को वास्तविकता से दूर किसी अलग दुनिया ले जाती हैं। इसके लिए कुछ ऐेप भी उपलब्ध हैं।
वर्चुअल मेडिटेशन के फायदे
वीआर मेडिटेशन से ध्यान को ज्यादा आसानी से अपने रोजमर्रा की आदत में शामिल किया जा सकता है। इसके लिए विशेष रूप से बनाए गए ऐप्स के छोटे-छोटे सेशन मेडिटेशन को रोचक बनाते हैं। वीआर मेडिटेशन में जगह का कोई बंधन नहीं है, आप किसी भी जगह पर ध्यान कर सकते हैं। इसे इस्तेमाल करने वालों का मानना है किइस तरह ध्यान करना काफी शांतिप्रद है। इसमें आसपास के माहौल से परेशानी भी नहीं होती क्योंकि साधक एक आभासी दुनिया में चला जाता है।
अध्ययन सेप्रमाणित हुई स्वीकार्यता
स्पेन में जून 2016 में हुई तीसरी इंटरनेशनल मीटिंग ऑफ माइंडफुलनेस में वीआर मेडिटेशन को लेकर विशेषज्ञों ने एक अध्ययन किया। इसमें 21 से 69 साल की उम्र के 44 प्रतिभागियों को शामिल किया गया। सभी प्रतिभागियों को वर्चुअल रिएलिटी से मेडिटेशन करवाया गया। इसके बाद उन्हें अपने अनुभवों को 1 से 10 अंकों के स्केल पर रेटिंग देने के लिए कहा गया। फीडबैक में 70 फीसदी प्रतिभागियों ने बताया कि इस तरह के आभासी मेडिटेशन से उन्हें अच्छा महसूस हो रहा है और उनका आत्मविश्वास बढ़ा है। किसी भी प्रतिभागी ने मेडिटेशन को शून्य अंक नहीं दिया। जब उनसे पूछा गया कि क्या वे दूसरे लोगों को इसे करने के लिए प्रोत्साहित करेंगे तो 74 फीसदी लोगों ने हां में जवाब दिया।
वर्चुअल एकाग्रता और ध्यान
मशहूर किताब "क्योर" में विशेषज्ञ लेखक जो मर्चेंट ने वर्चुअल रिअलिटी और ध्यान की अवस्था पर गहराई से अध्ययन अनुभव लिखे हैं। उनके अनुसार इस तरह का ध्यान आत्मबलबढ़ाता है। मर्चेंट कहते हैं किहमारे मस्तिष्क में एकाग्रता को लेकर एक नियत क्षमता होती है। ऐसे में अगर आपको कुछ ऐसा अनुभव हो जिसमें एकाग्रता का बड़ा हिस्सा खर्च हो जाए तो इसका फायदा यह होता है कि आप बाकी चीजों से दूर हट जाते हैं। यानी, आपके पास ध्यान की जितनी क्षमता होती है, वह एक दिशा में एकाग्र हो जाती है।
जरूरी डिवाइस और ऐप्स
इसके लिए आपको सिर्फ एक वीआर डिवाइस चाहिए होगी। गूगल एप स्टोर पर वर्चुअल रिएलिटी मेडिटेशन के लिए सैकड़ों एप्स उपलब्ध है। कुछ के लिए यूजर को पैसा चुकाना होगा, वहीं कुछएप स्टोर पर मुफ्त मेंउपलब्ध हैं। भारत में ब्रह्मकुमारीवर्ल्ड स्प्रिचुअल युनिवर्सिटी द्वारा वर्चुअल रिएलिटी का उपयोग करके राजयोग और ध्यानकरना सिखाया जाता है। ब्रह्मकुमारी के यूट्यूब चैनल परवीआर वीडियोज भी उपलब्ध हैं।
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