कल से पेट्रोल पंपों पर मिलेगा फास्टटैग बारकोड, मार्च तक सभी टोल में अनिवार्य होगा
नई दिल्ली (शरद पाण्डेय).देश के सभी नेशनल हाईवे के टोल प्लाजा में मार्च तक फास्टैग लेन अनिवार्य कर दिया जाएगा। इसके लिए नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) सोमवार से देशभर के 800 पेट्रोल पंपों में वाहन चालकों को फास्टैग बारकोड उपलब्ध करवाएगा। ये बारकोड अगले 6 महीने में देशभर के 25 हजार पेट्रोल पंपों पर उपलब्ध करवा दिए जाएंगे। साथ ही दो एप भी लाॅन्च किए जा रहे हैं, जो कि फास्टैग के लिए मददगार होंगे। इससे टोल प्लाजा में वाहन चालकों का काफी समय बचेगा। अभी बिना फास्टैग के एक वाहन गुजरने में औसतन 6 मिनट लगते हैं।
सड़क परिवहन मंत्रालय और एनएचएआई के 479 टोल प्लाजा हैं। इनमें करीब 425 टोल में फास्टैग लेन उपलब्ध हैं। बचे 54 टोल में मार्च तक फास्टैग लेन शुरू कर दी जाएगी। इससे वाहन चालकों का टोल चार्ज देने में लगने वाला समय बचेगा। फास्टैग लेन से बिना फास्टैग वाले वाहनों की एंट्री नहीं होगी। अगर कोई वाहन एंट्री करता है, तो उस पर फाइन भी लगाया जा सकता है। हालांकि अभी इस पर फैसला नहीं हुआ है।
सोमवार काे सड़क परिवहन मंत्रालय और ऑयलकंपनियों के बीच समझौता होगा। इसमें महानगरों के 200-200 पेट्रोल पंपों में फास्टैग उपलब्ध होंगे। इसके बाद क्रमवार अगले 6 माह के अंदर बड़े शहरों के 25 हजार पेट्रोल पंपों में भी यह सुविधा उपलब्ध होगी। इसके लिए हरेक पेट्रोल पंप में बूथ बनाया जाएगा। फास्टैग को वाहन चालक बैंक अकाउंट, पेटीएम आदि से लिंक कर सकते हैं। इसमें सभी प्रमुख बैंकों के लिए विकल्प मौजूद होगा। अभी फास्टैग एनएचएआई द्वारा पंजीकृत बैंकों से ही मिलते थे। सर्वे के अनुसार टोल से गुजरने वाले करीब 90 फीसदी वाहन चालक अक्सर टोल से गुजरते हैं। ऐसे वाहन चालकों के लिए फास्टैग आसानी से उपलब्ध हो सकेगा।
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फास्टैग एक तरह का बारकोड स्टीकर है, जो वाहन में लगाया जाता है। इसके कोड को आपके बैंक अकाउंट या पेटीएम से लिंक कर दिया जाता है। इसके बाद जब आप टोल प्लाजा से गुजरेंगे तो आपको वहां कोई कैश नहीं देना पड़ेगा। फास्टैग लेने वाले वाहन चालक जब टोल गेट के एंट्री प्वाइंट के करीब पहुंचेंगे तो गेट पर लगे सेंसर फास्टैग बारकोड को स्कैन कर इसकी सूचना कंट्रोल रूम को देगा। बैरियर इस सूचना पर खुल जाएगा।
- 479 टोल प्लाजा हैं एनएच में।
- 43 लाख वाहन रोज गुजरते हैं यहां से।
- 6 मिनट औसत समय एक वाहन को।
- 55 करोड़ रु. रोज आवक टोल से।
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